अराजनैतिक किसान संगठनों ने अपनी लंबित मांगों को लेकर फिर दिल्ली में महापंचायत करने का ऐलान किया है। किसान, अपनी मांगों को लेकर मोदी-सरकार के दरवाजे पर दस्तक देने की घोषणा कर चुके हैं। पहले भी किसानों ने दिल्ली की सीमा पर बेमियादी धरना प्रदर्शन किया था।
इस बार राज्य सरकारों ने किसानों को धमकाने और महापंचायत में हिस्सा लेने से रोकने पर की हरसंभव तैयारी शुरू कर दी है। किसान आंदोलन के दौरान प्रशासन द्वारा ड्रोन कैमरों के जरिए वीडियोग्राफी करवाई जाएगी और आंदोलनकारियों की पहचान की जाएगी। सरकार के आदेशों की अवहेलना करने वाले आंदोलनकारियों के पासपोर्टों को रद्द करवाया जायेगा। इसके अलावा उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी जाएगी।
हरियाणा सरकार ने कहा हैं कि हरियाणा पुलिस एक्ट 2007 की धारा 69 के तहत सड़क या किसी भी सार्वजनिक स्थान पर सभा बुलाने, आंदोलन के लिए संबंधित पुलिस थाना को लिखित में सूचना देनी होगी। पुलिस अधिकारी के कानूनी तौर पर संतुष्ट होने पर ही किसी सभा या जूलुस की अनुमति दी जायेगी। यदि किसी सभा ,जुलुस,आंदोलन से शांति भंग होन की संभावना है, तो लोकहित के लिए दो दिया जाएगा। इसके लिए ट्रांसर्पोटर, यूनियन और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है। बताया कि किसान आंदोलन में भाग लेने के लिए वाहनों को किराये या भाईचारे में न दें अन्यथा उसके वाहन को इंपाउंड करके अपंजीकृत कर दिया जाएगा। अवहेलना करने के जुर्म में कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस अधीक्षक गंगाराम पूनिया ने बताया कि भारत बंद को लेकर पुलिस प्रशासन सतर्क है। भाकियू के प्रमुख नेताओं पर नजर रखी जा रही है। करनाल और कुरुक्षेत्र पुलिस के अनुसार किसान आंदोलन को लेकर व्यवस्था बनाए रखने के लिए रूप रेखा तैयार की जा रही है।
हरियाणा में कैथल जिला , पंजाब के पटियाला जिले से लगा है। इसमें गुहला-चीका क्षेत्र समाना व पटियाला तो संगतपुरा क्षेत्र खनौरी बॉर्डर से लगता है। ऐसे में पुलिस प्रशासन ने किसानों के दिल्ली कूच करने से रोकने के लिए तैयारी कर ली है। ट्रांसर्पोटर, यूनियन और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है। बताया कि किसान आंदोलन में भाग लेने के लिए वाहनों को किराये या भाईचारे में न दें अन्यथा उसके वाहन को इंपाउंड करके अपंजीकृत कर दिया जाएगा। अवहेलना करने के जुर्म में कानूनी कार्रवाई की जाएगी।