पंजाब, हरियाणा और राजस्थान सीमाओं पर 280 दिन से किसान डटे हुए हैं। सरकार उनकी सुन नहीं रही है। संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा ने ऐलान किया है कि किसान 6 दिसंबर को दिल्ली कूच करेंगे। फसलों के लिए एमएसपी गारंटी कानून समेत कई मांगों को लेकर 13 फरवरी से किसान आंदोलन कर रहे हैं।
किसान नेताओं का आरोप है कि सरकार उनकी सुन नहीं रही है। इसलिए 26 नवंबर को जगजीत सिंह डल्लेवाल आमरण अनशन पर बैठेंगे और उसके 10 दिन बाद किसान संगठन दिल्ली की ओर बढ़ेगे। इसके लिए किसान संगठनों ने रणनीति बनाई है। बता दें कि आंदोलन की शुरुआत के दौरान किसान संगठनों और सरकार के बीच 4 दौर की बातचीत चंडीगढ़ में हुई थी, जिसमें कोई समाधान नहीं निलक सका था और उसके बाद से कोई वार्ता नहीं हुई है।
किसान मजदूर मोर्चा (भारत) और संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) ने किसानों और मजदूरों की मांगों को लेकर चल रहे आंदोलन के दौरान चंडीगढ़ के किसान भवन में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की। किसान नेताओं ने कहा कि 6 दिसंबर को शंभू बॉर्डर से किसानों का जत्था दिल्ली की ओर मार्च करेगा। किसान नेताओं ने कहा कि 26 नवंबर को जगजीत सिंह डल्लेवाल आमरण अनशन पर बैठेंगे। अगर सरकार इस दौरान किसानों से वार्तालाप नहीं करती है तो 10 दिन बाद शंभू से आगे बढ़ने की कार्रवाई की जाएगी।
संगठन की ओर से कहा गया कि आम लोगों की परेशानी को ध्यान में रखते हुए सड़कें खोली जानी चाहिए। किसान नेताओं ने साफ किया कि सड़कें हरियाणा सरकार ने बंद की हैं, किसानों ने नहीं। बैठक में सरवन सिंह पंढेर, सुरजीत सिंह फूल, सुखजीत सिंह हरदोझंडे, इंदरजीत सिंह कोटबुड्ढा, तेजवीर सिंह पंजोखरा साहिब, गुरअमनीत सिंह मांगट, बचित्र सिंह कोटला, दिलबाग सिंह गिल, अशोक बुलारा, बलवंत सिंह बेहरामके, सुखचैन सिंह हरियाणा, लखविंदर दोनों से मंच सिंह और कंवर दलीप सैदोलेहल मौजूद थे।
किसान संगठनों की ओर से कहा गया कि अगर सरकार 26 नवंबर से पहले बातचीत कर मोर्चे की मांगों का समाधान करना चाहती है तो आंदोलनरत किसान संगठनों के दरवाजे बातचीत के लिए हमेशा खुले हैं। उन्होंने कहा कि अगर सरकार किसी तरह की जबरदस्ती करेगी तो जबरदस्ती का मुकाबला धैर्य से किया जाएगा। आगामी 26 नवंबर के बाद पंजाब बीजेपी नेताओं को काले झंडे दिखाने का कार्यक्रम लागू किया जाएगा।
आंदोलनरत नेताओं ने कहा कि किसान जत्थों के रूप में बैरिकेड्स की ओर बढ़ेंगे। इस दौरान पहले जत्थे का नेतृत्व किसान मजदूर संघर्ष समिति के वरिष्ठ नेता सतनाम सिंह पन्नू, सविंदर सिंह चुटाला और बीकेयू क्रांतिकारी के सुरजीत सिंह फूल करेंगे। वहीं, किसान नेताओं ने ऐलान किया कि इस बीच यदि किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल की शहादत होती है तो उनकी जगह पर किसान नेता सुखजीत सिंह हरदोझंडा आमरण अनशन पर बैठेंगे।