धान की कटाई शुरू हो गई है,लेकिन, इस बीच धान के खेती करने वाले किसानों की परेशानियां बढी हुई हैं| असल में बीते दिनों कई राज्यों में हुई बारिश की वजह से किसानों की फसलें खेत में भीग गई हैं| कई जगहें फसलें खेत में बारिश के पानी में डूबी हुई है| इससे धान में नमी की मात्रा बढ़ गई है| अब किसानों को फसल बेचने में कई तरह की कठिनाईयों का सामना करना पड़ रहा है| उत्तराखंड सरकार ने एक अहम फैसला लिया है| मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी किसानों की इस समस्या को देखते हुए राज्य में 20 फीसदी तक नमी वाले धान की MSP पर खरीदी करने की घोषणा की है|
बीते दिनों हुई बारिश की वजह से कई राज्यों में धान की फसल खराब हुई है. इस वजह से नमी की मात्रा 30 फीसदी तक पहुंच गई है| बीते दिनों पंजाब में नमी की मात्रा 19 फीसदी करने की मांग की गई थी|
धान में 17 फीसदी तक नमी की मात्रा ही है स्वीकार
कई राज्यों ने किसानों से धान की MSP पर खरीदी शुरू कर दी है| जिसके तहत निर्धारित मानदंडों पर ही किसानों से MSP पर खरीदा जाता है| मसलन, मानदंडों के तहत धान में नमी की अधिकतम मात्रा निर्धारित है| मसलन, मानदंडों के तहत धान में अधिकतम 17 फीसदी नमी ही स्वीकार है| इससे अधिक नमी की मात्रा होने पर किसानों की फसलों को बेहतर दाम नहीं मिल पाते हैं| जिसे देखते हुए उत्तराखंड सरकार ने नमी की अधिकतम मात्रा 20 फीसदी निर्धारित कर दी है|
किसानों के धान के एक-एक दाने का तौल हो सुनिश्चित
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने खटीमा कृषि उत्पादन मण्डी समिति के एसएमआई धान क्रय केन्द्र का अचानक पहुंचकर निरीक्षण करने के दौरान 20 फीसदी तक नमी वाले धान की खरीदी करने निर्देश अधिकारियों को दिया है| उन्होंने निरीक्षण के दौरान धान क्रय से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर विस्तार से जानकारी लेते हुए महत्वपूर्ण दिशा निर्देश दिए| इस दौरान उन्होंने नमी मापक यंत्र से धान की नमी भी मापी. इस पर उन्होंने कहा कि जितने भी हमारे धान क्रय केन्द्र लगे हैं, उन पर किसान की उपज की तौल ठीक प्रकार से हो और हमारे किसानों का धान का एक-एक दाना तौला जाना चाहिए और एक-एक दाने की खरीद होनी चाहिए|
मुख्यमंत्री धामी ने आगे कहा कि अभी जो बारिश हुई है, उसके कारण धान में नमी हैं| निरीक्षण के दौरान किसानों ने धान की नमी का मानक 17 प्रतिशत से 20 प्रतिशत करने तथा प्राथमिकता से प्रदेश के किसानों का धान खरीदने की मांग की| उन्होंने कहा कि किसानों को नमी पर हर संभव राहत एवं किसानों की समय की जरूरत के अनुसार सभी पर काम करेंगे| उन्होंने कहा कि अधिकारियों को पूर्व में ही निर्देशित किया गया है कि प्रदेश के सारे किसानों का पूरे का पूरा धान तौला जाना चाहिए|