झारखंड की मेधा डेयरी ने दुग्ध उत्पादक किसानों को मिलने वाली दूध की कीमत में तत्काल प्रभाव से वृद्धि कर दी है। झारखंड दुग्ध महासंघ से जुड़े सभी किसानों को अब उनके उनके दूध की गुणवत्ता के आधार पर दो से तीन रुपये अधिक मिलेंगे।
झारखंड दुग्ध महासंघ के प्रबंध निदेशक सुधीर कुमार सिंह ने यह जानकारी साझा करते हुए बताया है कि 21 फरवरी से झारखंड के किसानों को बढ़ी हुई कीमत के साथ भुगतान किया जाएगा। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि उपभोक्ताओं के लिए दूध की कीमत में किसी भी तरह की बढ़ोतरी नहीं की जाएगी। उपभोक्ता पुरानी कीमतों में ही दुग्ध तथा अन्य उत्पाद प्राप्त कर सकेंगे।
दुग्ध उत्पादकों को कीमत में हुई इस बढ़ोतरी से प्रदेश के किसानों की आय में बढ़ोतरी तो होगी| झारखंड दुग्ध महासंघ किसानों की आय में वृद्धि की दिशा में गोबर खाद प्रबंधन योजना, मधुमक्खी पालन योजना जैसे कदम भी उठाए जा रहे हैं।
फेडरेशन आने वाले समय में और भी क्षेत्रों में डेयरी प्लांट स्थापित करने की तैयारी कर रहा है| शुरुआत में राज्य के 10 जिलों में कार्य करना शुरू किया था पर अब इस साल के अंत तक इसे बढ़ाकर राज्य के 24 जिलों में करने की तैयारी चल रही है| साथ ही उन्होंने कहा कि वो इससे अधिक से अधिक किसानों को दूध उत्पादन से जोड़ने की योजना बना रहे हैं|
भारत में कुल दूध उत्पादन 187.75 मीट्रिक टन है, जो प्रति व्यक्ति 394 ग्राम प्रतिदिन है| दूध उत्पादन में देशभर में झारखंड 16वें स्थान पर है| यहां प्रति व्यक्ति 172 ग्राम दूध उपलब्ध हो रहा है|
झारखंड में पांच लाख लीटर दूध की आवश्यकता है| झारखंड मिल्क फेडरेशन मेधा डेयरी लगभग 1.25 लाख लीटर दूध की आपूर्ति करता है, बाकी 3.77 लाख लीटर दूध देश के अन्य राज्यों से प्राप्त करता है| झारखंड में प्रति व्यक्ति 172 ग्राम दूध उपलब्ध हो रहा है, जो राष्ट्रीय स्तर से बहुत कम है| प्रति व्यक्ति दूध उपलब्धता के मामले में झारखंड 16 वें स्थान पर है, जबकि सबसे ऊपर पंजाब एवं सबसे नीचे दमन एंड दीव है|