राज्य में अंगूर व खजूर की खेती की संभावना और सवाईमाधोपुर के अमरूदों को डिब्बाबंद करने के अलावा कृषि उत्पादन पर नवीन तकनीकी सहयोग के सम्बंध में डॉ. किरोड़ी लाल मीणा ने इजराइल के राजदूत के साथ विस्तार से चर्चा की। इजरायली राजदूत एक शिष्टमंडल के साथ जयपुर आये थे।
राजस्थान में इज़राइल के सहयोग से खेती के क्षेत्र में जानकारी देने की कई परियोजनाओं पर काम हो रहा है। इस अवसर पर एक-एक विचार विनिमय में कृषि मंत्री ने सवाई माधोपुर में उत्पादित किये जा रहे अमरूद के प्रसंस्करण हेतु सहयोग की संभावना पर कार्य करने हेतु कहा। इजराइल के राजदूत द्वारा इस पर आश्वस्त किया गया कि वे इस पर कार्य कर शीघ्र ही अवगत करायेंगे।
बैठक के दौरान प्रमुख शासन सचिव ने इजराइल के तकनीकी सहयोग से स्थापित किये गये बस्सी एवं जयपुर में अनार, कोटा में सिट्रस तथा जैसलमेर में खजूर के उत्कृष्टता केन्द्रों की प्रगति से अवगत करवाया गया। उन्होंने बताया कि इन केन्द्रों पर इजराइल के तकनीकी विशेषज्ञों की देख-रेख में लगभग 2 हजार 500 हैक्टेयर क्षेत्र में उन्नत कृषि तकनीक के माध्यम से अनार, संतरा एवं खजूर की खेती की जाकर लगभग 15 हजार कृषकों को प्रशिक्षित किया गया है तथा 7 लाख 70 हजार कृषकों को पौध रोपण सामग्री उपलब्ध करवाई गई है।
उत्कृष्टता केन्द्रों पर अपनाई जा रही तकनीक पर इजराइली प्रतिनिधि मण्डल ने संतोष जाहिर कर बताया कि इजराइल के सहयोग से स्थापित तीनों उत्कृष्टता केन्द्र कृषकों के हित में कार्य कर रहे है तथा इन केन्द्रों पर कृषकों को आवश्यक प्रशिक्षण दिया जा रहा है, साथ ही उच्च गुणवत्ता युक्त पौध रोपण सामग्री कृषकों को उपलब्ध करवाई जा रही है।
बैठक में इजराइल के राजदूत ने कृषि मंत्री को आमंत्रित किया कि वे एक तकनीकी दल एवं किसानों के साथ इजराइल का भ्रमण करें, ताकि वे फल, फूल, सब्जी तथा अन्य बागवानी फसलों पर इजराइल द्वारा किये गये कार्याे का अवलोकन कर सके जिससे कृषि क्षेत्र में उन्नत तकनीकी की कार्य योजना बनायी जा सके।