उत्तराखंड : देहरादून में 40 हेक्टेयर में शुरू होगी ड्रेगन फ्रूट की खेती, मुफ्त मिले पौधे – Khalihan News
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गौरतलब है कि भारत में ड्रैगन फ्रूट का उत्पादन 1990 के दशक की शुरुआत में शुरू हुआ था। ड्रैगन फ्रूट का उत्पादन कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, गुजरात, ओडिशा, उत्तर प्रदेश और आंध्र प्रदेश में होता है। इस साल की शुरुआत में गुजरात सरकार ने ड्रैगन फ्रूट का नाम कमलम रखने का फैसला किया था।

उत्तराखंड : देहरादून में 40 हेक्टेयर में शुरू होगी ड्रेगन फ्रूट की खेती, मुफ्त मिले पौधे

अपनी दिलकश महक और स्वाद के लिए प्रसिद्ध रहे देहरादून जिले में अब ड्रेगन फ्रूट की खेती को बढ़ावा दिया जाएगा। दिल्ली और पश्चिमी यूपी समेत अन्य राज्यों में ड्रैगन फ्रूट की मांग बढ़ती जा रही है। इस वजह से देहरादून में ड्रैगन की खेती इस बार कराई जा रही है।

प्राकृतिक सौंदर्यता में विख्यात दून में ड्रैगन फ्रूट की खेती शुरू हो गई है। उद्यान विभाग ने पहली बार 40 हेक्टेयर में इसकी खेती कराने के लिए किसानों को 13,334 पौधे निशुल्क उपलब्ध कराए हैं। ड्रैगन फ्रूट की उपज को बेहतर दाम पर बेचने के लिए उद्यान विभाग किसानों को बाजार और सप्लायर भी उपलब्ध कराएगा।

योजना के पहले चरण में देहरादून के विकासखंड डोईवाला, कालसी, सहसपुर, रायपुर व विकासनगर में गत सितंबर-अक्टूबर माह में 13,334 ड्रैगन फ्रूट के पौधों की रोपाई कराई गई है। जिले के किसानों को परंपरागत खेती के साथ ही ड्रैगन फ्रूट की खेती के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है। मुख्य उद्यान अधिकारी मीनाक्षी जोशी ने बताया कि जिन किसानों की जमीन सीमित है उन्हें इसकी खेती के लिए सबसे अधिक प्रेरित किया जा रहा है।

दून घाटी में ड्रैगन फ्रूट की खेती के लिए पहली बार में रकबे की सीमा निर्धारित की गई है। तय लक्ष्य को अगर उद्यान विभाग प्राप्त कर लेगा तो इसका दायरा और बढ़ाया जाएगा। उद्यान विभाग के मुताबिक, दिल्ली और पश्चिमी यूपी समेत अन्य राज्यों में ड्रैगन फ्रूट की मांग बढ़ती जा रही है। इस वजह से देहरादून में ड्रैगन की खेती इस बार कराई जा रही है।

जिले में ड्रैगन फ्रूट की खेती शुरू हो गई है। उद्यान विभाग ने पहली बार 40 हेक्टेयर में इसकी खेती कराने के लिए किसानों को 13,334 पौधे निशुल्क उपलब्ध कराए हैं। ड्रैगन फ्रूट की उपज को बेहतर दाम पर बेचने के लिए उद्यान विभाग किसानों को बाजार और सप्लायर भी उपलब्ध कराएगा।

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