(बाराबंकी के किसान स्ट्रॉबेरी की खेती कर मोटा मुनाफा कमा रहे हैं . 2012 में जिले के बसबरौली गांव के निवासी सत्येंद्र वर्मा ने इसकी खेती शुरू की थी. इस समय कुल 20 से 25 किसान स्ट्रॉबेरी की खेती कर रहे हैं.)
बाराबंकीः जिले में इन दिनों 20 से 25 एकड़ क्षेत्र में स्ट्रॉबेरी की खेती हो रही है, क्योंकि किसानों को इस खेती से काफी मुनाफा हो रहा है. स्ट्रॉबेरी की खेती की शुरुआत करने वाले किसान सत्येंद्र वर्मा ने बताया कि 2012 से उन्होंने इंटरनेट पर देखकर इसकी खेती की शुरुआत की. शुरुआत में कुल 400 पौधे हिमांचल प्रदेश से लेकर आए. पहले 6 बिस्वा में लगाया और उसके बाद आधा एकड़. आगे चलकर उन्होंने 3 एकड़ तक इसकी खेती की.सत्येंद्र वर्मा कहते हैं कि इस साल एक एकड़ में इसकी खेती कर रहे हैं.
एक एकड़ में खेती में इसको उगाने से लेकर बेचने तक में 4 लाख रुपये लागत आती है. इससे करीब 9 लाख से 10 लाख रुपए का फायदा होता है.
आसपास के जिलों में भी बाराबंकी से सीख लेकर लोग खेती कर रहे हैं. बरेली, लखीमपुर, प्रयाग, सुलतानपुर में अब इसकी खेती का माध्यम बाराबंकी जिला बन चुका है.
उन्होंने कहा कि इसकी खेती कर वे अपनी उपज को मोहिबुल्लापुर, सीतापुर रोड लखनऊ नवीन गल्ला मंडी में ले जाकर बेचते हैं.
सतेन्द्र वर्मा कहते हैं कि इस खेती का प्रभाव आसपास के जिलों में भी है बरेली, लखीमपुर, प्रयाग, सुल्तानपुर और बाराबंकी के किसान भी इसकी खेती करना सीख रहे हैं. एक एकड़ में कम से कम 9 से 10 लाख रुपए का फायदा होता है. इसके पौधे में दो प्रकार की वैरायटी प्रसिद्ध है, जिसमें नावेला इटालियन और विंटर डाउन कैलिफोर्निया की वैरायटी है.
एक एकड़ में कुल मिलाकर 4 लाख की लागत आती है और उपज 80 से 120 कुंतल तक होती है. दिसंबर और जनवरी के महीने में यह 350 रुपए प्रति किलो बिकती है.
किसानों की आय दोगुनी करने की बात होती ही रहती है ,ऐसे में स्ट्रॉबेरी की खेती से महज 3 से 4 महीने में किसान मोटा मुनाफा कमाते हैं. इससे किसानों के जीवन स्तर में बदलाव की राह देख रहे हैं किसान सत्येंद्र वर्मा.
आलोक शुक्ल (जोरदार कलम से)